तमिलनाडु में मेडिकल कॉलेजों में ओबीसी कोटा को लेकर दाखिल याचिकाओ पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि, आरक्षण किसी का मौलिक अधिकार नहीं है और सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले के बाद से एक बार फिर से आरक्षण पर बहस शुरू हो गई है। तमिलनाडु में कई पार्टियों ने मेडिकल कॉलेज में 50 फीसदी सीटें ओबीसी के लिए रिजर्व करने की मांग करते हुए यह याचिका सुप्रीम कोर्ट में दाखिल की थी।
अब इस पर भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा कि “भारतीय जनता पार्टी आरक्षण का समर्थन करती है और मोदी सरकार वंचित तबके को आरक्षण की सुविधा देने के लिए प्रतिबद्ध है”।
कहा यह जा रहा है कि आगामी बिहार के विधानसभा चुनाव को देखते हुए भाजपा ने आरक्षण पर अपना रुख तुरंत साफ कर दिया है।
आरक्षण के मुद्दे पर बोलते हुए भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा कि समाज के कुछ लोग आरक्षण को लेकर भ्रम फैलाने का काम कर रहे हैं, मोदी सरकार और भाजपा आरक्षण के प्रति पूरी तरह से कटिबद्ध है. सामाजिक न्याय के प्रति हमारी वचनबद्धता अटूट है और पीएम मोदी ने बार-बार इस संकल्प को दोहराया है।
उन्होंने आगे कहा सामाजिक समरसता और सभी को समान अवसर हमारी प्राथमिकता है, और मैं स्पष्ट करता हूं, भाजपा आरक्षण व्यवस्था के साथ हैं और इस मसले पर किसी भी तरह के भ्रम से लोगों को बचने की उन्होंने सलाह दी।
जानकारों के अनुसार 2015 के बिहार विधानसभा चुनाव के दौरान संघ प्रमुख मोहन भागवत एक बयान में आरक्षण की समीक्षा किए जाने की बात कही गई थी और उस बयान को राष्ट्रीय जनता दल के मुखिया लालू प्रसाद यादव ने अपने चुनाव में खूब भुनाया था और लालू प्रसाद ने आरक्षण पर समीक्षा की बात को आरक्षण खत्म करने की चाल करार देते हुए इ से चुनाव में से बहुत बड़ा मुद्दा बनाया था।
उसी दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी चुनावी रैलियों में साफ कर दिया था कि उनकी सरकार आरक्षण से कोई छेड़छाड़ नहीं करने वाली है. पर इसके बावजूद पार्टी को चुनाव में आरक्षण का मुद्दा राजद की तरफ से उछालने पर नुकसान उठाना पड़ा था, और उसी से सबक लेते हुए इस बार भाजपा ने आरक्षण पर छिड़ी बहस पर अपना स्टैंड तुरंत साफ करते हुए आरक्षण का समर्थन किया।