कोरोना वायरस को लेकर दुनिया भर में तरह-तरह के शोध चल रहे हैं.
एक शोध से मिली ताजा जानकारी के मुताबिक वैज्ञानिकों का कहना है कि गंजेपन के शिकार लोगों को कोरोना वायरस से अधिक खतरा हो सकता है, और ऐसे लोगों की मौत की आशंका भी अधिक हो सकती है।
वैज्ञानिकों के अनुसार आदमियों में बाल झड़ने के पीछे एंड्रोजन हार्मोन जिम्मेदार होते हैं, और कोरोना वायरस के कई खराब मामलों में इस हार्मोन का संबंध पाया गया है।
डेली मेल में प्रकाशित एक खबर के अनुसार अमेरिका की ब्राउन यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर और रिसर्च रिसर्च के प्रमुख लेखक कार्लोस वैम्बियर ने ब्रिटिश टेलीग्राफ से कहा है कि हमें लगता है की एंड्रोजन हार्मोन शरीर में वायरस की एंट्री के लिए एक तरह से गेटवे का काम करता है, और गंजापन कोरोना के गंभीर खतरों का संकेत दे सकता है.
उन्होंने स्पेन में इसको लेकर दो स्टडी भी की हैं, और दोनों में सामने आया है कि हॉस्पिटल में भर्ती होने वाले कोरोना से संक्रमित मरीजों में गंजे लोगों का अनुपात अधिक है.
इससे पहले कुछ आंकड़ों में यह भी पता चला था कि कोरोना से बीमार होने वाले मरीजों में पुरुषों की मौत की आशंका महिलाओं के मुकाबले अधिक होती है।
यह स्टडी मेड्रिड के 3 अस्पतालों में भर्ती हुए कोरोनावायरस से संक्रमित 122 मरीजों पर की गई और यह देखा गया कि कोरोना से संक्रमित हुए मरीज 79 फ़ीसदी गंजे हैं, और इस स्टडी को अमेरिकन एकेडमी ऑफ डर्मेटोलॉजी जर्नल में प्रकाशित किया गया है।
स्पेन में ही किए गए एक और शोध में देखा गया है कि कोरोना वायरस से संक्रमित 41 मरीजों में 71 फ़ीसदी मरीज ऐसे थे जो कि गंजे थे, और इस स्टडी से साफ है कि गंजेपन से ग्रसित लोगों को कोरोनावायरस की इस महामारी से बचने के लिए अतिरिक्त सतर्कता और सावधानी की जरूरत है.